वरदान:अब जौनपुर में भी सड़क हादसों में घायलों का होगा मुफ़्त इलाज़
पूर्वांचल का मेदांता सरीखा सुविधा वाला है जौनपुर का साल्वेशन हॉस्पीटल, अब यहां रिटायर्ड फौजियों को कार्ड पर इलाज की हर सुविधा, केंद्र सरकार ने इस अस्पताल को दी मान्यता l
-उत्तर प्रदेश सरकार का ऑपरेशन झोलाछाप मुंह के बल गिरा, जिनपर कार्यवाही का जिम्मा वही दे रहे संरक्षण, गैर भाजपाई सरकारों के समय से चली आ रही परम्परा है कायम l
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-कैलाश सिंह-
विशेष संवाददाता
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वाराणसी/लखनऊ, (तहलका न्यूज नेटवर्क)l इसे विडम्बना ही कहेंगे कि मुख्यमन्त्री योगी आदित्यनाथ के आदेश के बाबजूद उत्तर प्रदेश में झोलाछाप चिकित्सकों का बाल तक बांका नहीं हुआ l प्रदेश के स्वास्थ्य महकमे में पूर्ववर्ती गैर भाजपा सरकारों में जिस तरह जिलों में तैनाती पाने के लिए नौकरशाहों से तगड़ा सुविधा शुल्क लिये जाने की चर्चा आम थी, वर्तमान में भी उसी परम्परा की चर्चा कायम है l स्वास्थ्य महकमे में तो इसकी चर्चा लोग खुल्लम खुल्ला करते हैंl शायद इसीलिए झोलाछाप जनपदों के ग्रामीण इलाकों से लेकर शहरी क्षेत्रों में विविध रूपों में काबिज हैं l इस रिपोर्ट में उसकी बानगी मिलेगी l स्वास्थ्य महकमे में खराब पहलू के साथ अच्छी खबर भी है जहाँ एक तरफ़ पैसे के लिए मरीजों की जान के दुश्मन महाभारत के कौरवी सेना सरीखे कथित चिकित्सकों, झोलाछाप की भरमार है, वहीं बीमारी को धर्म युद्ध मानकर इलाज करने वाले वाकई 'धरती के भगवान् भी पांडवों जैसी संख्या में मौजूद हैं l
पहले इलाज की बेहतरीन सुविधा वाली खबर पर गौर कीजिए, वाराणसी- लखनऊ हाईवे पर जौनपुर शहर के बाहर दक्षिणी छोर पर कन्धरपुर गांव में कोरोना के बाद खुले 'साल्वेशन अस्पताल' में जनहित की सुविधा उपलब्ध है l अब इस अस्पताल में सड़क हादसे में घायलों को मुफ़्त इलाज की सुविधा मिलेगीl केन्द्रीय मन्त्री नितिन गडकरी ने पिछले दिनों हाईवे पर बढ़ते हादसों को लेकर चिन्ता जाहिर करते हुए कहा था कि सरकार अब सड़क हादसों में घायलों को मुफ़्त त्वरित इलाज की व्यवस्था में लगी हैl इसी के मद्देनज़र देश के सभी राज्यों में यह सुविधा दी जाने लगी है, उसी के तहत अन्य जिलों की तरह यह सुविधा जौनपुर में भी हो गई है l उपचार में होने वाले खर्च की भारपाई सरकार करेगीl यानी इलाज करने वाले निजी अस्पताल को भुगतान घायल के परिजन को नहीं करना पड़ेगा l उन्हें बस हादसे की एफआईआर सम्बन्धित इलाके के थाने में करनी होगी l यह जानकारी सुविधा मुहैया कराने वाले साल्वेशन अस्पताल के संचालक चिकित्सक डॉ विवेक कुमार श्रीवास्तव ने 'तहलका संवाद' से हुई बातचीत में दी l उन्होंने बताया कि इस अस्पताल में किडनी के मरीजों की डायलिसिस नेफ्रौलाजिस्ट व प्रशिक्षित तकनीशियन की देखरेख में चल रही है l
इस अस्पताल में रिटायर्ड फौजियों के इलाज की सुविधा भी केन्द्र सरकार की अनुमति से मिल गई है l अब रिटायर्ड फौजियों को खुद रेफर कराकर वाराणसी या लखनऊ, दिल्ली आदि नहीं जाना पड़ेगा l उन्हें अब हर बीमारी का उपचार यहीं मिलेगा l दो एकड़ से अधिक क्षेत्रफल में फैले इस अस्पताल परिसर में बेहतरीन कैंटीन है, यहां से आयुष्मान कार्डधारकों को मुफ़्त भोजन भी दिया जाता है l जिले में 'पार्थ हास्पिटल' के बाद यही अस्पताल है जहां माड्युलर ऑपरेशन थियेटर हैl ऐसी ओटी की खासियत ये है कि ऑपरेशन के समय मरीजों को वैक्टीरिया संक्रमण नहीं होता हैl इनमें स्टील की वैक्टीरियारोधी परत लगी होती है l उसमें चिपकते ही वैक्टीरिया मर जाते हैं और इसमें लगे उपकरण के जरिये इन्हें बाहर फेंक दिया जाता है l
एक तरफ़ मरीजों के लिए सरकार द्वारा इतनी सुविधा मुहैया कराई जाती है, वहीं सरकारी महकमे की शह पर ही पैसों के लिए मरीजों की जान जोखिम में डालने वाले झोलाछाप का नेटवर्क गांवों से लेकर शहर तक फैला है l प्रदेश भर के लिए अकेले जौनपुर में कई ऐसे उदाहरण हैं जिसे सुनने वालों के रोंगटे खड़े हो जाते हैं l यहां के नईगंज इलाके में कुछ अस्पताल ऐसे हैं जिनके भवन हर हफ़्ते बदलते हैं l एक बिल्डिंग के हर तल पर एक अस्पताल मिलेंगेl इनके ओटी में पीली रोशनी वाला टिमटीमाता बल्ब, वतानुकूलित मशीन का डिब्बा तीमारदारों को धोख़ा देने में सक्षम होता है l यहाँ बग़ैर किसी डिग्री के एक दशक से प्रैक्टिस करने वाला कथित डॉक्टर अस्पताल तब बनाता है जब वह 35 लाख में एम डी की डिग्री खरीद लेता है l यहां के कथित टेक्निशियन भी बिंदास सर्जरी करके वीडियो में खुद को सर्जन दर्शाते हुए उसे सोशल मीडिया प्लेटफ़ार्म पर डालने से नहीं हिचकते हैं l यहाँ के तमाम डॉक्टर अपनी एमआरपी करवाकर मरीजों से 10 रुपये की दवा पर 100 रुपये वसूलते हैं l यहां दवा से लेकर प्रसूता के ऑपरेशन तक हर कदम पर दलाली सिर चढ़कर बोलती है l दलालों का जाल गिरोह में होता है जो संचालित झोलाछाप के जरिये तमाम सरकारी व निजी चिकित्सकों तक संपर्क बनाए रखता है l तमाम मेडिकल स्टोर पर नकली, प्रतिबन्धित और एक्सपायरी दवाओं में खेल करके धड़ल्ले से बेची जा रही हैंl ये बानगी प्रदेश के हर जिले की तस्वीर बयां करती हैl,,,,,,, क्रमशः