मेरी प्यास है कुछ ऐसी...
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मेरी प्यास है कुछ ऐसी, बुझती नहीं बुझाये,कोई लाके उसको दे दो, मेरी प्यास जो बुझाये।
कब तक मैं ऐसे सुलगूँ, उसको पता नहीं है,
मैं चाहता हूँ उसको, मेरी खता नहीं है।
है मौसम बड़ा बेदर्दी, कह दो कहीं पे जाए,
कोई लाके उसको दे दो मेरी प्यास जो बुझाये।
मेरी प्यास है कुछ ऐसी बुझती नहीं बुझाये,
कोई लाके उसको दे दो मेरी प्यास जो बुझाये।
कह दो मुझे सताए वो, है मेरी फ़साना,
पागल हो चुका हूँ, कहता है ये जमाना।
मेरे दर्द की दवा है, आकर मुझे पिलाए,
कोई लाके उसको दे दो मेरी प्यास जो बुझाये।
मेरी प्यास है कुछ ऐसी बुझती नहीं बुझाये,
कोई लाके उसको दे दो मेरी प्यास जो बुझाये।
उसके लबों की खुशबू, ये आँसू पी रहे हैं,
है मरमरी बदन वो, मेरी जान ले रहे हैं।
टिकती नहीं जवानी, जाकर कोई बताए,
कोई लाके उसको दे दो, मेरी प्यास जो बुझाये।
मेरी प्यास है कुछ ऐसी, बुझती नहीं बुझाये,
कोई लाके उसको दे दो, मेरी प्यास जो बुझाये।
रामकेश एम. यादव, मुम्बई