चरित्रवान न होना रावण के पतन का कारण: मदन मोहन
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सिरकोनी, जौनपुर । मानस कोविद डा. मदन मोहन मिश्र ने कहा कि निर्बल बलवान से, निर्धन धनवान से, मूर्ख विद्वान से डरता है किंतु चरित्रवान से सभी डरते हैं। रावण बलवान इतना था चलता था तो पृथ्वी कांपने लगती थी। धनवान इतना था सोने का भवन था। विद्वान इतना था कि वेदों पर भाष्य करता था किंतु चरित्रवान न होने के कारण आज भी उस का पुतला जलाया जाता है। वह मशऊदपुर, कबूलपुर में हनुमान जी के प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव में रामकथा प्रवचन कर रहे थे। साथ ही कहा कि हनुमान जी ने सुग्रीव की व्यथा, विभीषण को कथा सुनाकर रामजी से मिला दिया। इसके पहले विजय शंकर पाठक के आचार्यात्व में विधि—विधान से पूजन अर्चन किया। यजमान अमर चौहान एवं आयोजक इंद्रसेन चौहान ने आभार जताया। कार्यक्रम का संचालन अंकित श्रीवास्तव ने किया। इस अवसर पर तमाम लोग उपस्थित रहे।