सामाजिक सुधार के जनक थे बाबा साहब अंबेडकर :डा प्रभाष
विशिष्ट अतिथि पूर्व प्राचार्य मनराज शास्त्री ने कहा कि गांधी गोखले बाल गंगाधर तिलक द्वारा लड़ी गई आजादी की लड़ाई राजनीतिक आजादी के लिए थी। जबकि डॉ भीमराव अंबेडकर ने नारियों दलितों शिक्षा समानता और अन्याय झेल रहे लोगों के लिए संघर्ष किया ।उन्होंने कहा कि 25 दिसंबर 1927 को अंबेडकर द्वारा मनुस्मृति की प्रतियां जलाए जाने का उद्देश्य सामाजिक आर्थिक राजनीतिक समानता का विरोध था ।संविधान निर्माण के वह सबसे बड़े अध्ययन के जनक थे। उन्होंने कहा कि जब तक देश में जाति है अंबेडकर प्रासंगिक हैं। इसके अलावा जिला पूर्ति अधिकारी अजय कुमार सिंह, स्वामी डा करपात्री महाराज, डॉ संजय कुमार ने अंबेडकर के जीवन चरित्र पर प्रकाश डालते हुए उन्हें समाज सुधारक बताया। अध्यक्षता कर रही प्राचार्य डॉ नूरतलत ने अपने विचार रखे । संयोजन प्रो अखिलेश कुमार, आयोजन सचिव डॉ संदीप कुमार यादव ,सहायक सचिव डॉ रवि प्रकाश ने भी अंबेडकर के बारे में चर्चा किए ।इस अवसर पर डॉ मोती चंद यादव, डॉ ओम प्रकाश ,डॉ अविनाश चंद्र ,डॉ सत्येंद्र ,डॉ पूजा गुप्ता, डॉ सर्वजीत सिंह ,चंद्रमौली मिश्रा,डा शिखा मौजूद रहे।