बारिश से खेतों को फायदा, जलभराव से मुसीबत
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जौनपुर। आषाढ़ के मेघ विदा होने के पहले जिले को बारिश की भेंट दे गए। चार दिन के दौरान हुई झमाझम बारिश से जहां खेत व तालाबों में पानी दिखने लगा वहीं मायूस किसानों के चेहरों पर मुस्कान आ गई। बारिश का जोरदार आगाज खेती के लिए बेहद फायदेमंद माना जा रहा है। हालांकि थोड़ा विलंब जरूर हुआ है। ज्ञात हो कि दो जुलाई से बूंदाबांदी के साथ बारिश का सिलसिला शुरू हुआ। गत दिनों की सुबह से बादलों की ऐसी जबरदस्त दस्तक हुई कि तब से बारिश का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। दिन में कभी तेज तो कभी रुक-रुक कर बारिश हो रही है। किसानों को ऐसी ही बारिश की दरकार थी। ताकि विलंब हो चुके कृषि कार्य को गति दी जा सके। खरीफ का सीजन चल रहा है। धान यहां की प्रमुख फसल है। जिसका सर्वाधिक आच्छादन होता है। धान की किसानी मुख्य रूप से पानी पर ही निर्भर है। किसान रमेष बिन्द बताते हैं कि थोड़ा देर से शुरू हुई बारिश का आगाज इतना अच्छा रहा कि जमीन में काफी नमी आ चुकी है और खेतों में भी भराव हो गया है ऐसे में जहां धान का कार्य शुरू हो जाएगा वहीं जुताई-बुआई में भी तेजी आएगी। बारिश को लेकर जहां किसानों के चेहरे खिल गए हैं वहीं शहर व कस्बों में जगह-जगह जलभराव की समस्या से लोगों को जूझना पड़ा। ज्यादातर निचले हिस्सों में यह समस्या बनी हुई है। लोगों का कहना है कि नाला-नालियों की सफाई न होने से समस्या और भी जटिल हो गई है। बारिश के कारण अनेक स्थानों पर जलभराव हो गया। गंदा पानी घरों में पानी भर गया। नालियों के उफनाने से लोगों का आवागमन घंटों बाधित रहा। जल निकासी न होने से लोग परेशान हैं।