शिक्षा से बच्चों की अन्तर्निहित शक्तियों का विकास
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जौनपुर। शिक्षा बच्चों की अंतर्निहित क्षमता तथा उनके ब्यक्तित्व का विकसित करने वाली प्रक्रिया है। आगे चलकर यही प्रक्रिया उसे समाज में एक सामाजिक वयस्क की भूमिका निभाने के लिए तैयार करती है।शिक्षा द्वारा मनुष्य की जन्मजात शक्तियों का विकास, उसके ज्ञान एवं कौशल में वृद्धि एवं व्यवहार में परिवर्तन किया जाता है और इस प्रकार शिक्षा के द्वारा हीं सभ्य, सुसंस्कृत एवं योग्य नागरिक का निर्माण सम्भव है,उक्त विचार स्थानीय शिक्षा क्षेत्र के इंग्लिश मीडियम प्राथमिक विद्यालय सदरूद्दीनपुर के वार्षिकोत्सव अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप मे उपस्थित जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी राजेन्द्र सिंह ने ब्यक्त किया। विद्यालय के बच्चों की अलौकिक क्षमता को देखकर भाव विभोर हुए बीएसए ने कहा कि परिषदीय विद्यालयों के बच्चों में अलौकिक क्षमता छिपी हुई है, बस आवश्यकता है उस क्षमता को निखारने की। उन्होंने विद्यालय के गुरूजनों के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि आज ऐसे ही लोगों के प्रयासों के परिणामस्वरूप परिषदीय विद्यालय कान्वेंट विद्यालयों को शिकस्त दे रहे हैं। खण्ड शिक्षा अधिकारी आर.एन. पाठक ने गुरूजनों से गुणवत्ता पूर्ण शैक्षिक माहौल देने पर बल दिया ताकि सरकारी विद्यालयों के प्रति समाज में भरोसा दिलाया जा सके। र्यक्रम के अन्त मे मुख्य अतिथि द्वारा प्रतिभागियों को पुरस्कृत किया गया। इस दौरान डॉ. उमेश तिवारी, पंकज सिंह, दुष्यंत मिश्रा, पारस यादव, संगीता पाल समेत तमाम अभिभावक उपस्थित रहे।कार्यक्रम की अध्यक्षता ग्राम प्रधान अखण्ड प्रताप सिंह और संचालन विद्यालय की प्रभारी प्रधानाध्यापिका अनुपमा अग्रहरि ने किया।