अपने कृत को छिपाने के लिए शिक्षक ने एक छात्र को कर दिया मृत घोषित
https://www.shirazehind.com/2017/12/blog-post_220.html?m=0
जौनपुर। महराजगंज क्षेत्र के एक प्रधानाध्यापक ने अपने कार्य प्रणाली
से गुरु की पदवी को शर्मसार कर दिया है। खंड शिक्षा अधिकारी की कार्रवाई से
खुद को बचाने के लिए विद्यालय में पढ़ने वाले एक छात्र को मृत बता दिया।
अब उसकी मां से नाम बदलने के लिए दबाव बना रहा है। उसके इस कृत्य से
ग्रामीणों में आक्रोश है।
खंड शिक्षा अधिकारी वंशीधर पांडेय गत नौ दिसंबर को अपराह्न एक बजे पूर्व माध्यमिक विद्यालय रामनगर उपधान में आकस्मिक निरीक्षण के लिए पहुंचे तो यहां एक भी छात्र मौजूद नहीं मिला। कारण पूछने पर प्रभारी प्रधानाध्यापक ने बता दिया कि कक्षा छह में पढ़ने वाले छात्र अफरोज की मौत हो जाने के कारण अवकाश घोषित कर दिया गया है। उसके इस उत्तर से खंड शिक्षा अधिकारी को शंका हुई तो उन्होंने बयान को लिखित में ले लिया। दस दिन बाद जब इस बात की जानकारी परिवार के लोगों को हुई तो वे आक्रोशित हो गए। मृत बताए गए अफरोज की मां का आरोप है कि जांच में फंसता देख प्रधानाध्यापक ने मेरे बेटे को मृत दर्शा दिया है अब उसका दूसरा नाम रखने के लिए दबाव बना रहे हैं। ग्राम प्रधान पति सुरेंद्र सरोज ने बताया कि अफरोज की मौत की खबर गलत है। गांव के लालचंद गौतम एडवोकेट, राजकुमार, रामकुमार आदि ग्रामीणों का आरोप है कि शिक्षक के व्यवहार के कारण गांव के बच्चे कई वर्षो से वहां पढ़ने नहीं जाते। रजिस्टर में पंजीकृत अधिकांश छात्र दूसरे विद्यालय में पढ़ते हैं।ग्रामीणों ने मामले की जांच कराकर कार्रवाई की मांग की है।
प्रधानाध्यापक द्वारा छात्र को लिखित रूप में मृत बताने की शिकायत ग्रामीणों द्वारा खंड शिक्षा अधिकारी से की गई है। इसके अलावा विद्यालय में पंजीकृत 30 छात्रों में अधिकांश के न आने, मध्याह्न भोजन योजना, सरकारी धन के दुरुपयोग की भी शिकायत है। मामले की जांच के लिए खंड शिक्षा अधिकारी मुंगराबादशाहपुर व महराजगंज के नेतृत्व में जांच समिति बना दी गई है। आरोप सही मिलने पर कार्रवाई की जाएगी।
खंड शिक्षा अधिकारी वंशीधर पांडेय गत नौ दिसंबर को अपराह्न एक बजे पूर्व माध्यमिक विद्यालय रामनगर उपधान में आकस्मिक निरीक्षण के लिए पहुंचे तो यहां एक भी छात्र मौजूद नहीं मिला। कारण पूछने पर प्रभारी प्रधानाध्यापक ने बता दिया कि कक्षा छह में पढ़ने वाले छात्र अफरोज की मौत हो जाने के कारण अवकाश घोषित कर दिया गया है। उसके इस उत्तर से खंड शिक्षा अधिकारी को शंका हुई तो उन्होंने बयान को लिखित में ले लिया। दस दिन बाद जब इस बात की जानकारी परिवार के लोगों को हुई तो वे आक्रोशित हो गए। मृत बताए गए अफरोज की मां का आरोप है कि जांच में फंसता देख प्रधानाध्यापक ने मेरे बेटे को मृत दर्शा दिया है अब उसका दूसरा नाम रखने के लिए दबाव बना रहे हैं। ग्राम प्रधान पति सुरेंद्र सरोज ने बताया कि अफरोज की मौत की खबर गलत है। गांव के लालचंद गौतम एडवोकेट, राजकुमार, रामकुमार आदि ग्रामीणों का आरोप है कि शिक्षक के व्यवहार के कारण गांव के बच्चे कई वर्षो से वहां पढ़ने नहीं जाते। रजिस्टर में पंजीकृत अधिकांश छात्र दूसरे विद्यालय में पढ़ते हैं।ग्रामीणों ने मामले की जांच कराकर कार्रवाई की मांग की है।
प्रधानाध्यापक द्वारा छात्र को लिखित रूप में मृत बताने की शिकायत ग्रामीणों द्वारा खंड शिक्षा अधिकारी से की गई है। इसके अलावा विद्यालय में पंजीकृत 30 छात्रों में अधिकांश के न आने, मध्याह्न भोजन योजना, सरकारी धन के दुरुपयोग की भी शिकायत है। मामले की जांच के लिए खंड शिक्षा अधिकारी मुंगराबादशाहपुर व महराजगंज के नेतृत्व में जांच समिति बना दी गई है। आरोप सही मिलने पर कार्रवाई की जाएगी।