बलिदान दिवस पर वीरागंनाओं को किया नमन
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जौनपुर। कलेक्ट्रेट के क्रान्ति स्तंभ पर हिन्दुस्तान रिपब्लिकन आर्मी एवं लक्ष्मी बाई ब्रिगेड के कैडरों ने 1857 की वींरागना लक्ष्मी बाई, झलकारी बाई सहित सैकड़ों महिला शहीदों का 160 वंा बलिदान दिवस शनिवार को मनाया। जहां मोमबत्ती जलाकर दो मिनट का मौन रखकर पुष्प् अर्पित कर श्रद्धांजलि अर्पित की गयी। इस मौके पर ब्रिगेड की अध्यक्ष मंजीत कौर ने कहा कि सामाजिक स्वतंत्रता, एकता व अखण्डता के लिए बलिदान देने में महिलायें पुरूषों से आगे रही। इतिहास गवाह है कि रानी चेनम्मा, दुर्गावती, रानी लक्ष्मी बाई, बाला मुनरा, झलकारी बाई, अदिवन्ती बाई, ऊदा देवी, हजरत महल बेगम, महाबीरी बाई, रजिया सुल्ताना आदि के बलिदानियों से विदेशियों के दांत खट्टे हो गये। इसके अलावा स्वतंत्रता आन्दोलन के बलिदानियों से प्रेरित होकर कल्पना दत्त, ऊषा मेहता, प्रति लता, आसिफ अरूणाअली, दुर्भा भाभी आदि शहादत देने वालों का मार्ग दर्शक बनी, किन्ुतु दुःख इस बात का है। देश को आजाद हुए सात दशक हो गये बलिदानी वीरों एवं विरागंनाओं के विकास कार्यो की योजना सरकार उनके नाम पर नहीं चलायीं। सिर्फ प्रदेश की पिछली सरकार लक्ष्मी बाई पेशन योजना चलाकर सराहनीय कार्य किया। इसी प्रकार देश भर में स्वतंत्रता आन्दोलन के शहीद एवं आजाद भारत की अखण्डता पर शहीद सैनिकों के नाम पर विकास योजनायें चलायी जानी चाहिए। यही उनके प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी। श्रद्धांजलि देने वालों में डा0 विमलासिंह , अनिरूद्ध सिंह, मनोज , अजय, कविता, बिट्टू , सरोज, अर्चना, बंदना, नगीना, कोमल, जय सिंह आदि रहे। संचालन डा0 धरम सिंह ने किया।