भैंस को बरामद करने वाली पुलिस पूर्व बीडीसी का पता लगाने में अक्षम!
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जौनपुर।
सूबे की सपा सरकार के एक कैबिनेट मंत्री की चोरी हुई भैंस को चंद घण्टों
मंे बरामद करने वाली उत्तर प्रदेश पुलिस निरंकुश हो गयी है तभी तो भैंस को
बरामद करने वाली पुलिस अपहृत/लापता पूर्व बीडीसी को खोजने में नाकाम दिख
रही है। बात यहां जौनपुर नगर के लाइन बाजार थाना क्षेत्र के बेलवा रामसागर
की है। यहां के पूर्व बीडीसी के अपहृत/लापता हो गये हैं। लगभग एक माह से
अपहृत/लापता पूर्व बीडीसी को बरामद करने में पुलिस नाकाम दिख रही है,
क्योंकि शिकायत करने एवं गांव के ही कुछ लोगों पर अपहरण करने का आरोप लगाने
के बावजूद भी पुलिस अपहृत/लापता का पता लगाने में अक्षम है।
परिजनों
के अनुसार 22 अगस्त को बगल के एक व्यक्ति के घर भोजन करने के बाद वापस आने
वाले पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य राजकुमार जायसवाल अचानक लापता हो गये।
काफी खोजबीन के बाद परिजनों ने थाना पुलिस को सूचना दिया लेकिन कोई
कार्यवाही न होने पर परिजन आरक्षी अधीक्षक से मिलकर अपनी पीड़ा सुनाये। वहीं
दूसरी ओर इस घटना को विभिन्न समाचार-पत्रों एवं टीवी चैनलों पर भी
प्रसारित किया गया। लगभग एक माह बीतने को होने वाले हैं लेकिन अभी तक पूर्व
बीडीसी का कहीं कुछ अता-पता नहीं चल रहा है। हालांकि परिजनों ने गांव के
ही कुछ लोगों पर चुनावी रंजिश को लेकर अपहरण किये जाने का आरोप लगाया।
पुलिस सूत्रों के अनुसार परिजनों की तहरीर पर बीते 30 अगस्त को मुकदमा
अपराध संख्या 1121/16 में भादंसं 1860 की धारा 364 के तहत तीन लोगों के
खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। इसमें गांव के ही वीरेन्द्र सिंह पुत्र
बेत नरायन सिंह के अलावा अनुज सिंह व मनोज सिंह पुत्रगण वीरेन्द्र सिंह को
नामजद बनाया गया है लेकिन न जाने क्यों पुलिस उन्हें पकड़ नहीं रही है। कहा
जा रहा है कि आरोपी घर से फरार चल रहे हैं।
वहीं
इसको लेकर क्षेत्र में इस बात की जोर चर्चा है कि आरोपी के परिवार में एक
अवकाशप्राप्त सब इंसपेक्टर हैं। हो सकता है कि विभागीय असर कहीं दिख रहा
हो। फिलहाल पुलिसिया हिसाब से आरोपी से पूछताछ किया जाना चाहिये लेकिन शायद
अभी तक किसी से भी पूछताछ नहीं की गयी। अलबत्ता पुलिस बार-बार परिजनों से
अवश्य पूछताछ कर रही है। पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य का गायब हो जाना,
आरोपी से पूछताछ न करना सहित किसी भी प्रकार का पुलिसिया कार्यवाही न होना
जहां चर्चा का विषय बना हुआ है, वहीं रो-रो कर बहदाल हो चुके परिजनों के मन
में किसी बड़ी अप्रिय घटना की आशंका अब बनी हुई है।