रक्तदानी की माता का निधन, शोक की लहर
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जौनपुर। अपनी बेबाक लेखनी के साथ-साथ सामाजिक कार्यो रक्दान जैसे कार्यो में वह भी बगैर किसी तामझाम और मीडिया की सुर्खियों से दूर होकर निस्वार्थ कईयों को रक्दान के जरिए जीवन देने और खुद इस महादान के लिए कईयों के प्रेरणाश्रोत बने पत्रकार और पूर्व शिवसेना जिला प्रमुख विजय शंकर श्रीवास्तव ‘‘राजू’’ की माता विभा श्रीवास्तव का 68 की अवस्था में 20 सितंबर 2016 दिन मंगलवार की भोर में उनके गृह निवास हुसैनाबाद में निधन हो गया। वह इधर काफी दिनों से अस्वस्थ्य चल रही थी। वह अपने पीछे एक भरापूरा परिवार छोड़ गई है। उनका अंतिम दाह संस्कार वाराणसी स्थित गंगा नदी के मर्णिकंका घाट पर किया गया जिन्हें मुखाग्नि उनके छोटे बेटे विजय षंकर श्रीवास्तव ने दी। जिनके निधन का समाचार सुनते ही उनके आवास पर शोक संवेदना जताने वालों का तांता लगा रहा। ज्ञात हो कि स्वर्गीय श्रीमती विभा श्रीवास्तवा जनपद के वरिष्ठ रंगकर्मी, अधिवक्ता, रचनाकार, नाट्यकार तथा फिल्म प्रोड्यूसर स्वर्गीय रमेश चन्द्र श्रीवास्तव की पत्नी रही। जिनके छोटे बेटे विजय शंकर श्रीवास्तव अविवाहित रहने के कड़े फैसले के साथ अपना पूरा जीवन समाजसेवा के प्रति समर्पित कर रक्दान के लिए एक मुहिम चलाए हुए है। पत्रकार कौषलेन्द्र गिरि, रामषरण यादव, सन्तोश देव गिरि, लालप्रकाष ‘‘राही’’ सुषील कुमार मिश्रा, अरूण कन्नौजिया इत्यादि सहित श्रमिक कल्या समिति के राश्ट्रीय अध्यक्ष अख्तर अली व कई संगठनों के पदाधिकारियों आदि ने उनके निधन पर षोक संवेदना जताते हुए ईष्वर से उनके परिवार को इस दुःख को सहने की सहन शक्ति प्रदान की प्रार्थना की है।