सुप्रीम कोर्ट के निर्देश की भी उड़ाई जा रही है धज्जिया, सरकारी जमीनों को कब्जा के लिए लगी है होड़
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मछलीशहर। स्थानीय
तहसील क्षेत्र के तमाम गावो में सरकारी जमीन पर कब्जा की होड़ लगी रहती है
चाहे वह तालाब की जमीन हो या भीटे की या अन्य सरकारी जमीन हो।जबकि सर्वोच्य
न्यायालय का आदेश है कि किसी भी दशा में सरकारी जमीन पर किसी के द्वारा भी
अतिक्रमण नही होना चाहिए।लेकिन लोगो को आदेश का पालन करने को कौन कहे आये
दिन कही न कही पर सरकारी जमीन पर अतिक्रमण होने की शिकायते तहसील प्रशासन
से होती रहती है।ताजा उदाहरण बटनहित गांव में देखने को मिला जहा पर तालाब
व् भीटे की जमीन पर अतिक्रमण होने की शिकायत उक्त गांव निवासी अम्बुज पुत्र
बृजराज के नेतृत्व में दर्जनों ग्रामीणों ने ज्वाइंट मजिस्ट्रेट सत्येंद्र
कुमार से करते हुए आरोप लगाया कि आ0न0 1072 सहित आधा दर्जन तालाब भीटे पर
दबंगों ने कब्जा जमाकर निर्माण कार्य कर रहे हैं।दर्जनों शिकायती पत्र देने
पर हल्का लेखपाल पैमाइस भी किये तो मात्र एक तालाब की पैमाइस कर अतिक्रमण
की रिपोर्ट तो लगा दिए लेकिन भीटे की पैमाइस तक नहीं किये।अतिक्रमण हटाने
की दूर की बात रही ग्रामीणों का आरोप था की भूमि प्रबंध समिति की अध्यक्ष
ग्राम प्रधान प्रमिला देवी भी ग्राम समाज की सुरक्षा न कर अतिक्रमण कराने
में भागीदार बनी हुई हैं। जिसके कारण ग्रामीण काफी आक्रोशित हैं।उच्च
अधिकारियों के आदेशों का असर राजस्व कर्मियों पर भी नहीं पड़ रहा है।जबकि
ग्रामीण न्याय की उम्मीद में तहसील का कई बार चक्कर काटते काटते थक चुके
हैं और सर्वोच्चय न्यायालय के आदेश की खुलेआम धज्जिया उड़ रही है।