कलेक्ट्रेट में अचानक पहुंची भारी पुलिस फोर्स, मच हड़कंप
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जौनपुर। कलेक्ट्रेट में अधिवक्ताओं के चल रहे धरना-प्रदर्शन के 5वें दिन मंगलवार को अधिवक्ताओं ने प्रशासनिक अधिकारियों के कार्यालय में तालाबंदी कर जोरदार प्रदर्शन किया। अधिवक्ताओं ने जिलाधिकारी के शिकायती प्रकोष्ठ सहित सिटी मजिस्ट्रेट के कक्ष को भी नहीं खुलने दिया। अधिवक्ताओं के आक्रोश देख भारी संख्या में कई थानों की फोर्स व पीएसी बुला ली गयी जिसको देखते ही अधिवक्ता और उग्र हो गये और जमकर नारेबाजी करने लगे। इसी क्रम में जिले के तहसीलस्तरीय कोर्ट भी बंद रहे। गौरतलब हो कि कलेक्ट्रेट के वरिष्ठ अधिवक्ता ढेरापुर गांव निवासी ओम प्रकाश मिश्र के घर में बीते 15 मार्च की रात लाखों की चोरी हुई थी। डीएम-एसपी के निर्देश के बाद बक्शा पुलिस द्वारा कोई ठोस कार्रवाई न किये जाने से अधिवक्ता पिछले 4 दिनों से लगातार धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं और कलेक्ट्रेट बार का मुख्य द्वार बंद करके जिलाधिकारी कार्यालय के समक्ष धरने पर बैठकर थानाध्यक्ष बक्शा को हटाने और चोरी का खुलासा करने की मांग कर रहे हैं। इसी क्रम में मंगलवार की सुबह कलेक्टेªट बार के अध्यक्ष उदय प्रताप सिंह की नेतृत्व में अधिवक्ताओं ने प्रशासनिक अधिकारियों के कक्ष को नहीं खुलने दिया। सिटी मजिस्ट्रेट व जिलाधिकारी के शिकायती प्रकोष्ठ को भी पूरी तरह से बंद करा दिया। इसके अलावा तहसीलदार सहित सभी कोर्टों का पूर्ण बहिष्कार हुआ। अधिवक्ताओं के आक्रोश को देखते हुये अपर आरक्षी अधीक्षक व सिटी मजिस्ट्रेट धरनास्थल पर पहुंच गये और कई थानों की फोर्स, एक प्लाटून पीएससी भी बुला ली गयी। देखते ही देखते पूरा कलेक्ट्रेट परिसर पुलिस छावनी में तब्दील हो गया। उधर बार अध्यक्ष श्री सिंह ने कहा कि हम अपनी मांग पर अड़े रहेंगे। हम पुलिस से डरने वाले नहीं है। आज जिलास्तरीय हड़ताल रहा है। यदि जरुरत पड़ी तो हम मुख्यमंत्री से मिलकर भी शिकायत करेंगे। पूर्व अध्यक्ष विजय प्रताप सिंह ने कहा कि अभी तो शांतिपूर्ण ढंग से अधिवक्ता धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं। शीघ्र ही इसे प्रदेशव्यापी हड़ताल का रुप दिया जायेगा। इस अवसर पर वरिष्ठ अधिवक्ता पं. यतीन्द्र नाथ त्रिपाठी, सुरेन्द्र बहादुर सिंह, राजेश गुप्ता, रामकृष्ण पाठक, रविन्द्र नारायण सिंह, पल्टू राम, रेखा गौतम, सूर्यमणि चौबे, हनुमान मिश्र, हर्ष पाण्डेय, यशवंत सिंह, घनश्याम सिंह, राकेश सिंह, मनोज मिश्र, उमेश उपाध्याय, ओमकार नाथ गिरी, आनन्द मिश्र समेत सैकड़ों की संख्या में अधिवक्ता उपस्थित रहे।