कस्तूरबा की छात्राओं को योग गुरू ने सिखाया योग का गुर
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जौनपुर। बालिकाएं किसी भी राष्ट्र की सामाजिक एवं सांस्कृतिक विरासत को एक पीढ़ी से दूसरी तक हस्तांतरित करने का सबसे सशक्त माध्यम होती हैं, इसलिश्े बचपन से ही बालिकाओं को शारीरिक व मानसिक रूप से स्वस्थ बनाकर एक स्वस्थ राष्ट्र का निर्माण किया जा सकता है। योग एक ऐसी साधना पद्धति है जिसको अपनाकर ऐसा किया जा सकता है। उक्त बातें पतंजलि योग समिति व भारत स्वाभिमान के संयुक्त तत्वावधान में कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय रामनगर की छात्राओं को दिये जा रहे योग प्रशिक्षण शिविर में खण्ड शिक्षा अधिकारी मंगरू राम ने कही। योग का क्रियात्मक अभ्यास कराते हुये योग विस्तारक अचल हरिमूर्ति व लाल बहादुर द्वारा बताया गया कि कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालयों में अध्ययनरत बालिकाएं सामान्यत कमजोर तबकों से आती हैं, इसलिये इनके सर्वांगीण विकास के लिये योग अति आवश्यक है। इस अवसर पर विद्यालय की वार्डेन पूनम भारती, जागृति त्रिपाठी, मनोरमा पाल, पूनम पाल, दिनेश कुमार, मधु कन्नौजिया के अलावा तमाम सम्बन्धित उपस्थित रहे।