D.M ने जिला अस्पताल में मारा छापा , खुली चिकित्सा व्यस्था की पोल
https://www.shirazehind.com/2015/05/dm.html
जौनपुर। जिलाधिकारी भानुचन्द्र गोस्वामी ने मुख्य
चिकित्सा अधिकारी डा0डी0के0 यादव के साथ आज प्रातः 8.45 बजे अमर शहीद
उमानाथ सिंह जिला चिकित्सालय जौनपुर का आकास्मिक निरीक्षण किया गया।
निरीक्षण के समय डा0 ओ0पी0 सिंह0 सर्जन, डा0 निश्चल गुप्ता ई0एन0टी0 सर्जन,
डा0 मन्जू मिश्रा नेत्र सर्जन, डा0 दीप शिखा नेत्र सर्जन, डा0 राम नगीना
बाल रोग विशेषज्ञ तथा डा0 प्रभात कुमार बाल रोग विशेषज्ञ, ओ0पी0डी0 में
मरीज देखते हुये पाये गये जबकि डा0 आर0के0 चक्रवर्ती नेत्र सर्जन देर से
ओ0पी0डी0 में आये। जिलाधिकारी के पूछने पर उन्होने बताया कि वे जनरल राउण्ड
पर थें जिस पर अप्रसन्नता व्यक्त करते हुये जिलाधिकारी ने ओ0पी0डी0 के समय
पर ओ0पी0डी0 का कार्य करने का निर्देश दिया। डा0 एस0बी0सिंह फिजिशियन डा0
सतीश सिंह सर्जन, वार्ड में राउण्ड लेते हुये पाये गये प्रभारी मुख्य
चिकित्सा अधीक्षक डा0 एस0के0 पाण्डये शल्य रोग विशेषज्ञ, डा0 आर0के0 जयसवाल
शल्य रोग विशेषज्ञ आपरेशन थियेटर में आपरेशन कर रहे थे, डा0 जे0पी0
त्रिपाठी फिजिशियन, डा0 भीम सिंह शल्य रोग विशेषज्ञ का उपस्थित पंजिका में
उपस्थिति तो दर्ज थी। किन्तु न तो वार्ड में पाये गये और न ही ओ0पी0डी0
कक्ष में पाये गये डा0 एस0पी0 नरायण आयुष चिकित्सक अनुपस्थित पाये गये डा0
अमित चढ्ढा दिनांक- 16.10.2014 योगदान देने के बाद से ही लगातार अनुपस्थित
चल रहे है। पूछने पर प्रभारी मुख्य चिकित्सा अधीक्षक ने बताया कि इनसे
सम्बन्धित सूचना शासन को प्रेषित किया जा चुका है। वार्ड के निरीक्षण के
दौरान मरीजो ने बताया कि बेड के चादर प्रतिदिन नही बदले जाते है तथा बाथरूम
की साफ सफाई सन्तोषजनक नही पायी गयी । इमेर्जेन्सी वार्ड मे बेड नं-12 पर
भर्ती मरीज श्री सूबेदार ने बताया कि सारी दवाये हमे बाहर से खरीदनी पड़
रही है तथा सिरिंज भी बाहर से मगाना पडता है जिस पर जिलाधिकारी ने
अप्रसन्नता व्यक्त करते हुये प्रभारी मुख्य चिकित्सा अधीक्षक से कारण पूछा
तो उन्होने बताया कि रेट कान्ट्रैक्ट न होने के कारण चिकित्सालय में कुछ
दवाओं की कमी है। उक्त कमी को दूर करने का शीघ्र प्रयास किया जायेगा। श्री
सूबेदार ने यह भी बताया कि लैट्रिन, बाथरूम हेतु साइड कार्टर भी उपलब्ध नही
होती है, यद्यपि उन्होने बताया कि उनका एक्स-रे चिकित्सालय में ही हुआ है।
अन्य मरीजो ने बताया कि कुछ दवाये बाहर से खरीदनी पड़ रही है शेष दवा
चिकित्सालय से प्राप्त होती है।
राष्ट्रीय
स्वास्थ्य बीमा योजना के तहत पिछले वित्तीय वर्ष में किसी भी मरीज के
लाभान्वित न होने पर जिलाधिकारी ने अप्रसन्नता व्यक्त करते हुये प्रभारी
मुख्य चिकित्सा अधीक्षक को यथा शीघ्र योजना का क्रियान्यवयन सुनिश्चित करने
तथा अधिक से अधिक स्मार्ट कार्ड धारको को प्रेरित करके सरकार द्वारा
संचालित उक्त योजना का लाभ अधिक से अधिक संख्या में लोंगो को लाभ प्राप्त
कराने का निर्देश दिया। जिलाधिकारी ने निर्देशित किया कि चिकित्सालय में
साफ सफाई के मद में व्यापक धनराशि खर्च होने के बावजूद भी मानक के अनुरूप
सफाई व्यवस्था नही पायी गयी तथा उन्होने सम्बन्धित एजेन्सी एवं मुख्य
चिकित्सा अधीक्षक को दिन मे तीन बार शौचालय एवं वार्ड की साफ सफाई नियमित
रूप से कराये जाने का निर्देश दिया । चिकित्सालय में स्थित प्रत्येक बेड पर
पाईप लाईन के माध्यम से आक्सीजन की उपलब्धता सुनिश्चित किये जाने का भी
उन्होने निर्देश दिया। अनुपस्थित अधिकारी अपना स्पष्टीकरण मुख्य चिकित्सा
अधीक्षक के माध्यम से तीन दिन के अन्दर प्रस्तुत करना सुनिश्चित करें कि
किन परिस्थितियों में इनके द्वारा नियमित ड्यूटी का पालन नही किया जा रहा
है। मुख्य चिकित्सा अधीक्षक को यह भी निर्देशित किया गया कि वे समस्त
चिकित्सको/पैरामेडिकल स्टाफ की उपस्थिति सुनिश्चित करायें एवं चिकित्सालय
की साफ सफाई मानक के अनुसार चुस्त एवं दुरूस्त बनाये रखे और साथ ही साथ
समस्त चिकित्सक/पैरामेडिकल स्टाफ समय से अपने निर्धारित ड्रेस एवं रात्रि
निवास करे, केन्द्र में उपस्थित, दवाओं की पूर्ण उपलब्धता, मानक अनुरूप
व्यवस्था सुनिश्चित करायें, एवं किसी भी दशा में बाहर की दवा न लिखी जाय।