न्यूज़ पोर्टल को कामयाब करने के कुछ तरीके | ..एस एम् मासूम
https://www.shirazehind.com/2016/10/blog-post_707.html
कल मेरे कलेक्ट्रेट परिसर स्थित पत्रकार भवन में "आज के परिवेश में सोशल मीडिया" विषय पर एक गोष्ठी के दौरान दिए गए मशविरे पे कुछ लोगों ने आग्रह किया की आपने जो कहा कुछ वक़्त के अँधेरे में खो जायेंगे के विषय पे अधिक जानकारी दें |
तो भाइयों जानकारी आपके सामने है |
आज का दौर वेब पत्रकारिता का दौर कहा जा सकता है | आज पूरी दुनिया द्वारा अंतरजाल के बढ़ते इस्तेमाल को देखते हुए यह समझा जा रहा है की आने वाला समय वेब पत्रकारिता का ही होगा |इस वेब पत्रकारिता को हम इंटरनेट पत्रकारिता, ऑनलाइन पत्रकारिता, सायबर पत्रकारिता भी कह सकते हैं|
वेब पत्रकारिता कंप्यूटर और इंटरनेट के सहारे संचालित ऐसी पत्रकारिता है जिसकी पहुँच किसी एक पाठक, एक गाँव, एक प्रखंड, एक प्रदेश, एक देश तक नहीं बल्कि समूचा विश्व है |भारत में बढ़ते संचार साधनों से पत्रकारिता के क्षेत्र में भी करियर के अवसर उजले हुए हैं|
आज जौनपुर में अनगिनत वेब पोर्टल्स बन चुके हैं जिनमे से कुछ अपना स्थान बना लेंगे और कुछ समय के अँधेरे में खो जायेंगे |
जिसके मुख्य कारण होंगे :-
१. अंतरजाल की सही तकनीकी को सही तरीके से या बिना समझे इस्तेमाल |
२. मीडिया सेंटर द्वारा दी गयी ख़बरों को कॉपी पेस्ट करते हुए वैसे ही पोस्ट कर देना जैसे वो मिली थी | अंतरजाल और प्रिंट मीडिया में यही अन्तर है की वहाँ एक ही खबर हजारों अखबार में दी जा सकती है उसका कोई नुकसान नहीं लेकिन वेबसाइट पे जो खबर सबसे पहले डाली गयी उसकी ही पहचान होगी बाकी वेबसाइट सर्च में नहीं गिनी जायेंगी और बहत बार उसे सर्च हटा देता है |
३.ओरिजिनल ख़बरों का न डाला जाना |
४. पाठको में ख़बरों के प्रति विश्वसनीयता का पैदा न कर पाना |
५. सही टेम्पलेट ,प्लेटफ़ॉर्म या डिजाईन का चुनाव न करना |
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६ दिशाहीन पत्रकारिता :- उस बात का पता ना होना की किस प्रकार के पाठको तक आपको पहुंचना है |
७. न्यू मीडिया का सही तरीके से इस्तेमाल ना करना |
८. अन्य न्यूज़ वेबपोर्टल को प्रतिद्वंधि समझ के उनसे न जुड़ना |
इत्यादि
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S.M.Masoom
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